आम आदमी के शब्दों में अपसरण का मतलब केवल भाग जाना है। तलाक के लिए अपसरण एक बहुत बड़ा कारण है. अपसरण का अर्थ किसी स्थान से हटना नहीं बल्कि चीजों की स्थिति से हटना है। यह इसका शाब्दिक अर्थ है। यह विवाह के सभी दायित्वों में से एक है। इसमें किसी भी उचित कारण के बिना, और पति और पत्नी का एक दूसरे से सहमति के बिना अलग होना होता है।
अपसरण यह कहता है कि जीवनसाथी के बीच अपसरण वह स्थान है कि पति या पत्नी एक-दूसरे के साथ शारीरिक संपर्क में नहीं हैं। इसके पीछे क्या कारण हो सकता है ? शायद सामाजिक या चिकित्सा का कोई कारण हो सकता है परन्तु बहुत बार यह दोनों के लिए बहुत ही निकृष्ट आचरण का कारण होता है। यह किसी और के लिए आकर्षण भी हो सकता है।
ऐसा क्यों होता है ? इसका कारण यह है कि जो भी व्यक्ति (पति या पत्नी) अपने जीवनसाथी से जो अपेक्षा रखते है वो पूरी नहीं हो पाती हैं। इसलिए जीवनसाथी को एक दूसरे का ध्यान और उसकी अपेक्षा क्या है आपसे, वो क्या चाहते है इसका ध्यान रखने की जरुरत है। यह तो सिर्फ अभी एक तरह से ही गलती है।
इस स्थति में यह जरूरी नही होता है कि पति पत्नी अलग अलग रहे बल्कि एक साथ रह कर भी अपने कर्तव्यों को छोड दें और एक दूसरे पर ध्यान न देना और बहुत समय तक उसके बीच कोई सम्बन्ध न हो। पति पत्नी एक दूसरे का एक दूसरे से बात न करना और एक बात पर राजी न होना और एक दूसरे पर ध्यान न देना। वो अपने काम के लिए या अन्य चीजों के लिए किसी दूसरे का सहारा लेने लगते है।
यह भी संभव है कि पति को कोई दुसरी लड़की पसंद करता हो उसको साथ समय व्यतीत करना अच्छा लगता हो इसलिए वह अपनी पत्नी पर ध्यान नही देता है यह चीज पत्नी के साथ भी हो सकती है। अपसरण का उपयोग शायद ही कभी तलाक के लिए आधार के रूप में किया जाता है, क्योंकि 2 वर्ष की अवधि में तलाक के लिए मानसिक इरादे की जरुरत होती है। यह साबित करना बहुत मुश्किल हो सकता है।